Huwa kya : 25 हजार रुपयों से भरा पर्स देहरादून के दिनेश को मिला जब बीच सड़क पर , तब क्या किया दिनेश ने इन 25 हजार रुपयों का ।
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Dehradun , 7 जुलाई । कोई ईमानदार है या नहीं यह उसके संस्कारों पर निर्भर करता है । ईमानदारी का वास्ता पढ़ाई लिखाई या रहन सहन से कभी भी नहीं हो सकता और न ही ये इसे मापने का पैमाना ही बन सकता है ।
जब आज की इस दौड़ती भागती जिंदगी के बीच हर कोई दो पैसे कमाने की जद्दोजहद में दौड़ लगा रहा हो और इसी बीच किसी एक सख्स को बिना मेहनत किए अचानक से उसके आगे हजारों रुपयों से टनाटन पर्स बीच रास्ते पर मिल जाए तो हम सभी लोग यही आंकलन करेंगे कि वह उसे लेकर चुपचाप खिसक लेगा । और फिर उन पैसों का किस तरह से इस्तेमाल करेगा इसके लिए भी वह स्वतंत्र होगा ।
लेकिन कभी-कभी हमारी सोच गलत भी साबित हो जाती है । अब दूसरे नजरिए से देखते हैं एक राहगीर चले जा रहा है, तभी उसे रुपयों से भरा पर्स मिलता है , वह उसे उठाता है, और चुपके से घर चले जाता है । लेकिन इसकी नियति में खोट नहीं होता है यह घर पहुंचते ही अन्य सदस्यों को भी जानकारी देता है कि उसे रास्ते में रूपयों से भरा पर्स मिला है तो परिवार के सभी सदस्य एक स्वर में बोलते हैं कि इस पर्स को कैसे सही आदमी तक पहुंचाया जाए । और इसे ही कहते हैं परवरिश या पारिवारीक संस्कार जहां सभी लोग एक जुबान बोलते हैं और किसी का बुरा नहीं चाहते हैं। यह उनकी सामाजिक एकता को भी दर्शाता है । आपको बताते चलें कि यह संस्कारी परिवार है देहरादून में दिनेश शर्मा का ।
दरअसल यह बात है कल यानी कि शुक्रवार रात 10 बजे बाद की । मामला यह है कि पुलिस लाईन देहरादून में तैनात इन्सपैक्टर एस. पी. बलूनी चकराता रोड पर एक कैमिस्ट के यहां अपनी पत्नी के लिए दवाईयां खरीदने गए थे । दवाई लेने के लिए जैसे ही उन्होंने जेब में रखा पर्स निकलना चाहा तो पर्स नहीं मिला । बातचीत में इन्सपैक्टर बलूनी ने बताया कि वह तुरन्त अपनी गाड़ी तक गए फिर आसपास बहुत छानबीन करने पर भी पर्स नही मिला जिससे वह काफी परेशान हो गए थे । क्योंकि उस पर्स में रुपयों के अलावा ATM व अन्य सभी महत्वपूर्ण कार्ड भी थे । लेकिन यहां बताते चलें कि जिन महत्वपूर्ण अन्य कार्डों को लेकिन आर आई बलूनी चिंतित थे वही कार्ड उनके लिए खुशी भी ले आए । क्योंकि चकराता रोड स्थित कैप्री मार्केट में अपने व्यवसाय चलाने वाले दिनेश शर्मा को जब यह पर्स मिला तो साथ में कुछ कार्ड भी मिले जिनमें पूरा नाम पता और फोन नम्बर भी मिल गए और उसके बदौलत चंद घंटों में ही इन्सपैक्टर बलूनी को सूचित किया गया कि उनका पर्स सुरक्षित है ।
आर. आई. एस. पी. बलूनी ने बताया कि पर्स 25 हजार रुपये हैं और अन्य कार्ड भी । उन्होंने कहा कि खोया हुआ सामान मिला है वह भी बिना हमारे प्रयास के जिसका श्रेय वह दिनेश शर्मा को देते हैं और कहा कि वाकही दिनेश जैसे लोग तो विरले ही होते हैं । उनकी ईमानदारी की हम सबको तारीफ भी करनी चाहिए ताकि इससे समाज में अच्छाई का यह संदेश भी पहुंच सके।
सचमुच दिनेश शर्मा ने सड़क पर गिरा मिला 25 हजार रुपयों से भरे पर्स को लौटाकर समाज में एक नजीर पेश कर दी है ।
दिनेश की इस ईमानदारी की जमकर प्रशंसा भी हो रही है । यूथ आइकॉन परिवार भी ईमानदार दिनेश को सल्यूट करता है । शाबास ।
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बड़े भाई दिनेश शर्मा नेअपने संस्कारो और ईमानदारी की एक बेहतरीन मिसाल पेश करके अपने पैतृक गांव नोजल जिला शामली उत्तरप्रदेश का भी नाम रोशन कर दिया, धन्य ह ऐसे लोग